Priyanka Verma

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लेखनी प्रतियोगिता - देवी

देवी..



देवी, एक ऐसा शब्द जो कोमलता, सुंदरता और माधुर्यता का परिचायक है। महिला, स्त्री, औरत, वनिता, इन सभी शब्दों का आधार है, देवी।
देवी शब्द मां के रूप, कन्या रूप, पत्नी स्वरूप, सभी रूपों में आरूढ़ होता है। "देवी" अर्थात दैवीय शक्तियां वाली। स्त्री सचमुच ही दैवीय शक्तियों से संपूर्ण होती है, जो अपने अंदर एक नए आत्मा को धारण कर उसे इस जगत में लाती है। उसका लालन पालन करती है। उसे जीवन जीना सिखाती है।

सनातन धर्म में, देवी को सदैव पूजनीय माना गया है। बेटी रूप में उसका सत्कार, पत्नी को लक्ष्मी स्वरूप और मां को जगत जननी के आदर दिया गया है। प्राचीन समय में स्त्रियों के नाम के साथ देवी उपनाम जोड़ा जाता था, जिसके पीछे भावना यही होती थी कि स्त्री देवी स्वरूप है।

मगर देखा जाए तो स्त्री से ज्यादा दुर्गति अन्य किसी भी प्राणी की नही हुई है। नियम कायदे, परंपरा, कानून, सब केवल स्त्री पर ही लागू होते हैं अथवा किए जाते हैं।

सीता,राधा, मीरा आदि सर्वगुण सम्पन्न देवियां भी इन नियम कानूनों से नही बच पाई। देवी स्वरूप होने के बाद भी समाज के आरोपों से ये भी लांछित हुईं।
वर्तमान समय में स्त्री अपने अधिकार के लिए आवाज उठा रही हैं, बहुत कोशिश कर रही हैं अपने अस्तित्व को बराबर का मान दिलाने के लिए। आशा है कि जल्दी ही वो दिन आए, जब हम स्त्री को उस पर होने वाले हर अत्याचार से मुक्त देखेंगे।
देवी का अवतार एक स्त्री में, जहां महागौरी जैसी सौम्यता होती है, वहीं वह अपने अधिकारों की रक्षा के लिए कालरात्रि रूप भी धारण कर सकती है।

नवरात्रि के अंतिम दिन की आप सभी को हार्दिक शुभकामनाएं।।🙏💐💐

प्रियंका वर्मा
4/10/22

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8 Comments

Shaandar 👌🌸💐

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Khan

06-Oct-2022 11:59 PM

Bahut khoob 🙏

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Gunjan Kamal

05-Oct-2022 06:29 PM

शानदार प्रस्तुति 👌

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